Friday, June 3, 2011

मेरे लिए हो

जब भी तू मुस्कुराए तो एक हंसी मेरे लिए हो,
तेरे हर एक सजदे में दुआ मेरे लिए हो,
मेरी दर्द-ओ-ग़म से रंजिश हो,
गर यह हकीकत में हो...

मुस्कुराए तू तो गालों पे लालिमा मेरी हो,
दुआ तू कर तो लब मेरे हो,
इतनी मोहब्बत रहे हम दोनों में,
आइना तू देखे और अक्स मेरा हो...


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